पार्टी लाइन से हटकर बयानबाजी तथा पार्टी के फैसले की सार्वजनिक आलोचना करने को लेकर जनता दल यूनाइटेड प्रशांत किशोर व पवन वर्मा के खिलाफ बड़ी कार्रवाई कर सकती है. पार्टी उन्हें बाहर का रास्ता भी दिखा सकती है. प्रशांत किशोर व पवन वर्मा के बयानों पर जेडीयू के बिहार प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कार्रवाई के इसके संकेत दिए हैं. इसके बाद खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी कहा है कि जिसे जहां जाना हो, चले जाएं.
इस बीच उपमुख्यमंत्री व भारतीय जनता पार्टी के वरीय नेता सुशील मोदी ने प्रशांत किशोर को आड़े हाथों लेते हुए उनपर गठबंधन तोड़ने का बहाना खोजने का आरोप लगाया है.
वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि प्रशांत किशोर व पवन वर्मा के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की जा सकती है. वशिष्ठ नारायण सिंह ने यह तो कहा कि वे कार्रवाई की सिफारिश अगली बैठक करेंगे, लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि पार्टी की अगली बैठक कब होगी. उन्होंने यह भी कहा कि दोनों के बयान से पार्टी की सेहत पर कोई फर्क नहीं पड़ता है. उनलोगों ने कहीं जाने का मन बना लिया है तो वे स्वतंत्र हैं.
प्रशांत किशोर लगातार नागरिकता संशोधन कानून का विरोध कर रहे हैं. जबकि, जेडीयू ने संसद के दोनों सदनों में इसके पक्ष में मतदान किया था. पवन वर्मा की नाराजगी इस बात को लेकर है कि जेडीयू ने दिल्ली विधानसभा के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के साथ सीटों का तालमेल क्यों किया. इस सवाल पर वर्मा ने मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को एक पत्र भी लिखा है.
प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि पवन वर्मा का पार्टी ने हमेशा सम्मान किया है. पार्टी के निर्माण में उनकी कोई भूमिका नहीं रही है. इसके बावजूद उन्हें राज्यसभा में भेजा गया. आज वे जिस तरह की भाषा का प्रयोग कर रहे हैं, वह कहीं से उचित नहीं है.