कोविड-19 के दौर में डॉक्टर की सराहनीय पहल, किडनी मरीजों की डायलिसिस सिर्फ 50 रुपये में


कोलकाता: कोरोना और लॉकडाउन के चलते किडनी और दूसरी घातक बीमारियों के मरीजों को इलाज में काफी दिक्कतें उठानी पड़ रही है। इस बीच कोलकाता के एक डॉक्टर मात्र 50 रुपये में डायलिसिस की सुविधा दे रहे हैं जिनकी हर ओर तारीफ हो रही है। अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के पूर्व वाइस चांसलर जमीरुद्दीन शाह के दामाद डॉ. फवाद हलीम ने लॉकडाउन के दौरान यह सेवा शुरू की।

वह बताते हैं, 'लॉकडाउन की वजह से मैंने मरीजों को जूझते देखा। कई लोग बेरोजगार हो गए और इलाज के लिए पैसे भी नहीं जुटा पा रहे हैं इसलिए मैंने अपनी क्लिनिक में डायलिसिस के लिए मात्र 50 रुपये के टोकन लेना शुरू किया।' अब तक डॉ. फवाद की टीम में तीन डॉक्टर और चार टेक्निशियन मिलकर 2,357 डायलिसिस कर चुके हैं। दो डॉक्टर वॉलनटिअर्स के रूप में जुड़े।

कोरोना संक्रमितों के लिए रोक-टोक नहीं
क्लिनिक में इन दिनों अधिक संख्या में मरीज आते हैं। फवाद ने बताया, 'हमने इलाज के लिए कोविड-19 सर्टिफिकेट को जरूरी नहीं किया हुआ है। हम उन्हें झंझटों से परे इलाज देना चाहते हैं। हर महीने लगभग 95 मरीज डायलिसिस के लिए क्लिनिक आ रहे हैं जबकि लॉकडाउन से पहले 70 मरीज आते थे। कई मरीज तो कोलकाता से 200 किमी दूर मुर्शिदाबाद जैसी जगहों से आ रहे हैं।'

जरूरतमंदों की मदद करने का विचार
डॉ. फवाद 'कोलकाता स्वास्थ्य संकल्प' से जुड़े हुए हैं जो एक नॉन प्रॉफिट इनिशिएटिव है। यह संस्था पिछले एक दशक से भी ज्यादा समय से जरूरतमंद मरीजों को कम पैसों में डायलिसिस उपलब्ध करा रहा है। डॉ. फवाद ने बताया, 'लॉकडाउन से पहले हम एक डायलिसिस के लिए 350 रुपये चार्ज करते थे लेकिन महामारी के चलते हमने यह राशि कम कर दी।'

इस संस्था के सदस्य गौरव कपूर बताते हैं कि उनका एनजीओ दुनिया में सबसे सस्ता डायलिसिस उपलब्ध करा रहा है। वह कहते हैं, 'जरूरतमंदों की मदद करने का विचार हमें साथ लाया।'


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