ममता ने पीएम से पूछा- सीएए इतना ही अच्छा तो क्यों नहीं किया मतदान


सीएए-एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के पांचवे दिन बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पीएम नरेंद्र मोदी से नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) वापस लेने का अपील करते हुए कहा कि भाजपा जानबूझ कर एक के बाद एक अपना राजनीतिक एजेंडा थोप रही है कि देश को लोग शांति पसंद हैं और विरोध नहीं करेंगे. उन्होंने कहा कि यह सब देश का ध्यान आर्थिक सुस्ती व अन्य संकट से बंटा रहे. इसी के साथ उन्होंने कहा कि अगर नागरिकता संशोधन कानून इतना ही अच्छा है तो प्रधानमंत्री जी आपने इसके लिए वोट क्यों नहीं डाला?

महानगर के अल्पसंख्यक बहुल पार्क सर्कस में सभा को संबोधित करते हुए सुश्री बनर्जी ने कहा, आप (पीएम) दो दिन संसद नहीं आए, जब आपने वोट नहीं डाला तो मुझे लगा कि आप भी इस के पक्ष में नहीं हैं. आप इस कानून को खारिज कर दिजीए। उन्होंने कहा कि इस बिल को पेश करते वक्त केंद्र सरकार ने किसी को सोचने का भी वक्त नहीं दिया लोकसभा में बहुमत का गलत फायदा उठाते हुए आधी रात को इसे पारित करा दिया.

मुख्यमंत्री ने कहा कि नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ केंद्र की मोदी सरकार पर प्रहार करते हुए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि जाति-धर्म के नाम पर लोगों को बांटने की सियासत करने वाली केंद्र की मोदी सरकार इस कानून का विरोध करने वालों को देशद्रोही करार दे रही है. लेकिन भाजपा वाले कब से देश भक्त हो गए। भाजपा की स्थापना 1980 में हुई और ये 1971 से नागरिकता का प्रमाण मांग रहे हैं.

इन लोगों का तो आजादी में कोई योगदान भी नहीं है और कहते हैं कि एनआरसी और सीएए लागू कर घुसपैठियों को बाहर निकालेंगे. लेकिन यहां तो कोई भी घुसपैठियां नहीं है, सभी नागरिक हैं, फिर किसे बाहर निकालेंगे और कैसे निकालते हैं मैं भी देखती हूं. दरअसल, शुक्रवार को महानगर के पार्क सर्कस इलाके में आयोजित सीएए व एनआरसी विरोधी सभा को संबोधित करने के दौरान मुख्यमंत्री ने उक्त बातें कही.

उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर, उत्तर प्रदेश, असम, दिल्ली, बिहार समेत पूरा देश आज नागरिकता संशोधन कानून व एनआरसी की आग में जल रहा है और केंद्र की मोदी सरकार खेल दिखाने की बात कर रही है. भला क्या खेल दिखाएंगे. यदि देश एक हो गया तो उनका खुद का वजूद बचना मुश्किल होगा. उन्होंने कहा कि आज अगर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी होते तो राज धर्म की याद दिलाते.

ममता ने कहा कि 38 फीसद वोट पाकर सत्ता में आई भाजपा यह भूल जाती है कि आज भी 62 फीसद लोग इन्हें पसंद नहीं करते हैं। खैर, भाजपा अकेले राज करने की मंशा से नित्य नए कानून ला देश को जाति-धर्म के नाम पर विभाजित करना चाहती है, जिसे हम किसी भी सूरत में सफल नहीं होने देंगे. इतना ही नहीं.

उन्होंने कहा कि लोग क्या खाएंगे और क्या नहीं ये भाजपा तय कर रही है यानी इस देश में कोई भी आजाद नहीं है. कई बार हमे एजेंसियों का भय दिखाया जाता है और तो और हमारी निर्वाचित सरकार को गिराने की धमकी दी जाती है. लेकिन हम डरने वालों में से नहीं है, बल्कि हर परिस्थिति के सामना को तैयार है। आगे उन्होंने कहा कि जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय में छात्रों पर हमले किए गए तो इतिहासकार रामचंद्र गुहा को शांतिपूर्ण विरोध के दौरान हिरासत में लिया गया. इन घटनाओं ने देश को शर्मसार किया है. 
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