जिस नियम से इंग्लैंड ने जीता था वर्ल्ड कप, अब ICC ने किया रद्द


इंग्लैंड की क्रिकेट टीम जिस नियम के तहत वर्ल्ड चैंपियन बनी थी उसे अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट काउंसिल (आईसीसी) ने अब रद्द कर दिया है. इंग्लैंड के ऐतिहासिक मैदान लॉर्ड्स में खेले गए इस मुकाबले का नतीजा बाउंड्री काउंट के आधार पर निकला था, लेकिन आईसीसी ने अब इस नियम को हटा लिया है. आईसीसी के सुपर ओवर में बाउंड्री नियम की वजह से इंग्लैंड जहां वर्ल्ड कप पर कब्जा जमाने में कामयाब रहा तो वहीं शानदार प्रदर्शन करने वाली न्यूजीलैंड की टीम खिताब से चूक गई थी.

आईसीसी ने कहा कि ग्रुप स्टेज में अगर सुपर ओवर टाई रहता है तो इसके बाद मुकाबला टाई रहेगा. वहीं सेमीफाइनल और फाइनल में अगर सुपर ओवर होता है तो ऐसे में जो भी टीम ज्यादा रन बनाती है वो विजेता घोषित होगी. सेमीफाइनल और फाइनल मुकाबले में सुपर ओवर तब तक जारी रहेगा जब तक एक टीम दूसरी टीम से ज्यादा रन नहीं बना लेती.  

उदाहरण के तौर पर, अगर ग्रुप स्टेज में दो टीमें 50 ओवर में एक ही स्कोर बनाती हैं तो ऐसे में मैच के नतीजे के लिए सुपर ओवर होगा. लेकिन अगर सुपर ओवर में भी स्कोर बराबर रहता है तो ऐसे में मैच का नतीजा टाई होगा और दोनों टीमों को बराबर अंक मिलेंगे. लेकिन सेमीफाइनल और फाइनल में ऐसा नहीं होगा.

सेमीफाइनल और फाइनल मुकाबले में तब तक सुपर ओवर होगा जब तक कोई एक टीम दूसरी टीम से ज्यादा रन नहीं बना लेती.

क्या कहा आईसीसी ने

सोमवार को हुई आईसीसी की बोर्ड की बैठक के बाद जारी बयान में कहा गया कि आईसीसी क्रिकेट समिति, मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (सीईसी) की समिति की सिफारिश के बाद यह सहमति बनी कि सुपर ओवर का उपयोग आईसीसी के मैचों में जारी रहेगा. इसे तब तक किया जाएगा जब तक टूर्नामेंट का परिणाम स्पष्ट तरीके से नहीं निकल जाए.

बयान में कहा गया कि इस मामले में क्रिकेट समिति और सीईसी दोनों सहमत थे कि खेल को रोमांचक और आकर्षक बनाने के लिए एकदिवसीय और टी20 वर्ल्ड कप के सभी मैचों में इसका इस्तेमाल किया जाएगा. ग्रुप स्टेज पर अगर सुपर ओवर के बाद भी मैच टाई रहता है तो उसे टाई माना जाएगा लेकिन सेमीफाइनल और फाइनल में सुपर ओवर तब तक कराया जाएगा जब तक एक टीम ज्यादा रन नहीं बना लेती.

इससे पहले जुलाई में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) के क्रिकेट महाप्रबंधक ज्योफ एलर्डाइस ने यह जानकारी दी कि पूर्व भारतीय कप्तान अनिल कुंबले की अगुवाई वाली क्रिकेट समिति अपनी अगली बैठक में बाउंड्री नियम सहित विश्व कप फाइनल से जुड़े मुद्दों पर चर्चा करेगी.

क्या हुआ था मैच में

14 जुलाई को ऐतिहासिक लॉर्डस मैदान पर खेले गए फाइनल मैच में इंग्लैंड ने न्यूजीलैंड को सुपर ओवर में हरा दिया था. इस रोमांचक खिताबी मुकाबले में न्यूज़ीलैंड ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 241 रन बनाए और इंग्लैंड को वर्ल्ड चैंपियन बनने के लिए 242 रनों की जरूरत थी, लेकिन मेजबानी टीम भी 50 ओवर में 241 रन ही बना सका और मैच टाई हो गया.

इस टाई मैच का नतीजा निकालने के लिए सुपर ओवर कराया गया, जिसमें इंग्लैंड ने 15 रन बनाए और बाद में न्यूज़ीलैंड सिर्फ 15 रन ही बना पाया. इसलिए मैच यहां भी टाई हो गया. यहां तक भी जब कोई नतीजा नहीं निकला तो मैच में किस टीम की ओर से बाउंड्री ज्यादा (बाउंड्री काउंट) लगी उसके आधार पर मैच का नतीजा निकला.

बाउंड्री के आधार पर इंग्लैंड बना चैंपियन

इंग्लैंड ने अपनी पारी में कुल 26 बाउंड्री लगाई और न्यूजीलैंड ने कुल 17. इस आधार पर इंग्लैंड को विजेता घोषित किया गया, लेकिन आईसीसी ने अब बाउंड्री काउंट नियम को रद्द कर दिया है.

पूर्व भारतीय कप्तान अनिल कुंबले की अध्यक्षता वाली आईसीसी क्रिकेट समिति की एक सिफारिश के बाद, मुख्य कार्यकारी समिति ने सोमवार को इस बात पर सहमति जताई कि नतीजों के लिए सुपर ओवर के उपयोग को बरकरार रखा जाएगा. इसका इस्तेमाल हर मैच में होगा, साथ ही वनडे और टी-20 वर्ल्ड कप में भी होगा.
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