बिहारः कांग्रेस और राजद के तीन विधायक भाजपा में शामिल


पटनाः बिहार में भाजपा ने विपक्ष को बड़ा झटका दिया है. कांग्रेस और राजद के तीन विधायकों ने पार्टी का साथ छोड़ दिया है. सूत्रों के अनुसार कांग्रेस के सिद्धार्थ और मुरारी गौतम तथा राजद की संगीता कुमारी अब भाजपा में शामिल हो गए. कुछ ही दिनों पहले बिहार विधानसभा में सीएम नीतीश कुमार ने विश्वास मत हासिल किया था। फ्लोर टेस्ट में जदयू-भाजपा सरकार के पक्ष में कुल 129 वोट पड़े थे। वहीं, स्पीकर का वोट मिलाकर ये आकड़ा 130 तक पहुंच गया। इसके साथ ही नीतीश कुमार ने विश्वास मत हासिल कर लिया था। अब विधायकों के पार्टी बदलने के लिए बाद एनडीए गठबंधन और मजबूत हो गया है। 

मोहनिया विधानसभा सीट पर वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में आरजेडी की संगीता कुमारी ने जीत हासिल की थी. वहीं मुरारी गौतम ने नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के ललन पासवान को मात देकर चेनारी सुरक्षित सीट पर जीत दर्ज किया। मुरारी गौतम ने जदयू उम्मीदवार को 17991 मतों से पराजित किया. उन्हें पिछली महागठबंधन सरकार में मंत्री भी बनाया गया था. कांग्रेस पार्टी ने दलित कोटे से उनका नाम मंत्रिमंडल के लिए तय किया था.  वे अनुसूचित जाति के चमार तबके से ताल्लुक रखते हैं. वहीं कांग्रेस के सिद्धार्थ सौरव ने पटना के विक्रम निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव जीता था.  वे भूमिहार जाति से आते हैं. पिछले कुछ समय से वे कांग्रेस से नाराज बताए जा रहे थे. 

पिछले महीने जब 28 जनवरी को नीतीश कुमार ने महागठबंधन से नाता तोड़ा और भाजपा के साथ मिलकर बिहार में सरकार बनाई तभी से  बिहार में कांग्रेस और राजद के कई विधायकों को टूटने के आसार व्यक्त किए जा रहे थे. यहां तक कि 12 फरवरी को नीतीश कुमार के विश्वास मत पेश करने से पहले कांग्रेस ने अपने विधायकों को हैदराबाद शिफ्ट कर दिया. उस समय भी कांग्रेस विधायक सिद्धार्थ सौरव वहां नहीं गए थे.  सिद्धार्थ सौरव, आबिदुर रहमान और विजय शंकर दुबे भी तब हैदराबाद नहीं गए थे. बाद में सिद्धार्थ सहित अन्य विधायक काफी खींचतान के बाद बिहार से हैदराबाद चले गए. उस समय भी यह आशंका जाहिर की गई कि जल्द ही कांग्रेस के 19 में से कई विधायक पार्टी छोड़ सकते हैं. 

इस बीच, 12 फरवरी को जब नीतीश कुमार ने विधानसभा में विश्वास मत पेश किया तब कांग्रेस का कोई भी विधायक नहीं टूटा. वहीं राजद के चेतन आनंद, प्रहलाद यादव और नीलम देवी ने अपना पाला बदल लिया. तीनों ने राजद को झटका दिया और सत्ताधारी समूह को समर्थन कर दिया. इसके बाद तेजस्वी ने विधायकों के तोड़फोड़ के खिलाफ सदन में नीतीश कुमार सहित अपने विधायकों को जमकर लताड़ लगाई थी. हालांकि अब एक बार फिर से वैसा ही खेला हो गया है. 


Post a Comment

Previous Post Next Post