Ayodhya Ram Mandir: राम मंदिर के लिए बुजुर्ग महिला ने 28 साल से नहीं खाया अन्न, 5 अगस्त को तोड़ेंगी व्रत


Ayodhya Ram Mandir लखनऊ : अयोध्या में राम मंदिर की नींव पड़ते ही मध्य प्रदेश के जबलपुर की 81 वर्षीया बुजुर्ग महिला उर्मिला देवी की तपस्या पूरी हो जायेगी. 6 दिसंबर, 1992 को विवादित ढांचा ढहाये जाने के बाद दंगे हुए थे, तब उन्होंने संकल्प लिया था कि राम मंदिर की नींव रखे जाने तक वे अन्न ग्रहण नहीं करेंगी. वे पिछले 28 वर्षों से फलाहार के साथ राम नाम का जाप करते हुए उपवास पर हैं. पहले लोगों ने उन्हें अपना उपवास तोड़ने के लिए काफी समझया था, लेकिन वे अपने फैसले पर अडिग रहीं. मंदिर के पक्ष में फैसला आने पर वे बहुत खुश हुई थीं. पीएम मोदी को पत्र भेजकर बधाई दी थी.

रामलला की पोशाक तैयार, पांच अगस्त को हरे रंग के मखमली कपड़े में आयेंगे नजर

भगवान श्रीराम की पोशाक तैयार हो गयी है. पांच अगस्त को रामलला को हरे और केसरिया रंग के नवरत्न जड़ित वस्त्रों को पहनाया जायेगा. श्रीराम के साथ लक्ष्मण, भरत, शत्रुघ्न और हनुमानजी के लिए भी एक जैसी पोशाक बनवायी गयी है. इन्हीं वस्त्रों को धारण करवाने के बाद पीएम श्रीराम के दर्शन और पूजा पाठ करेंगे. वहीं, रामलला के लिए हर दिन अलग-अलग रंग के पोशाक हैं, जिसे दिन के हिसाब से पहनाया जायेगा. सोमवार को सफेद, मंगलवार को लाल और बुधवार को हरे रंग की विशेष पोशाक तैयार की गयी है. केसरिया रंग की पोशाक भी तैयार है.

संत रविदास के जन्मस्थान की मिट्टी भी लगेगी : भूमि पूजन के लिए काशी स्थित संत रविदास जी की जन्मस्थली, बिहार के सीतामढ़ी स्थित महर्षि वाल्मीकि आश्रम, महाराष्ट्र में विदर्भ के गोंदिया के कचारगड, झारखंड के रामरेखाधाम, मप्र के टंट्या भील की पुण्यभूमि से जुड़े स्थलों, पटना के श्रीहरमंदिर साहिब, डॉ बाबासाहेब आंबेडकर के जन्मस्थान महू, दिल्ली के जैन मंदिर और वाल्मीकि मंदिर जैसे स्थलों से मिट्टी एवं जल एकत्र किया जा रहा है.

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