पश्चिम बंगाल में बीजेपी विधायक देबेंद्र नाथ रे की संदिग्ध हालत में मौत पर बवाल बढ़ता जा रहा है. बंगाल बीजेपी ने आज 12 घंटे का बंद बुलाया. इस बीच बंगाल बीजेपी प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय की अगुवाई में एक प्रतिनिधिमंडल आज राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात करेगा और बंगाल की कानून व्यवस्था के हालात को लेकर एक ज्ञापन सौंपेगा.
इससे पहले बीजेपी नेता कैलाश विजयवर्गीय ने कहा था कि ममता बनर्जी के राज में भाजपा नेताओं की हत्या का दौर थम नहीं रहा. सीपीएम छोड़ भाजपा में आए हेमताबाद के विधायक देबेंद्र नाथ रे की हत्या कर दी गई. उनका शव फांसी पर लटका मिला. क्या इनका गुनाह सिर्फ भाजपा में आना था?
कैलाश विजयवर्गीय ने कहा था कि लोकतंत्र को कैसे कुचला जाता है पश्चिम बंगाल की ममता सरकार इसका जीवंत उदाहरण है. राजनीतिक मतभेदों को हिंसक तरीके से दबाया जा रहा है, लेकिन लोकतंत्र का ये माखौल ज्यादा दिन का नहीं है. आखिर ममता राज का फैसला तो जनता ही करेगी.
क्या है पूरा मामला
पश्चिम बंगाल में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक विधायक को सोमवार को उत्तर दिनाजपुर जिले में उनके गांव में फांसी पर लटका पाया गया. घटना हेमताबाद इलाके के बिंदाल में हुई. विधायक देबेंद्र नाथ रे 2019 में भाजपा में शामिल हुए थे. वह रहस्यमय तरीके से एक स्थानीय बाजार के पास अपने घर से कुछ मीटर की दूरी पर लटके पाए गए.
देबेंद्र नाथ रे 2016 में मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के टिकट पर चुना गया था. हालांकि, रे के परिवार के सदस्यों ने आरोप लगाया कि उनकी राजनीति से ताल्लुक रखने के कारण उनकी हत्या की गई है और इस मामले की पूरी जांच करने की मांग की है.
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