एम्स ऋषिकेश में एक महिला ने चार बच्चों को दिया जन्म


अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ऋषिकेश में भर्ती उत्तरकाशी निवासी एक महिला ने चार बच्चों को जन्म दिया है. महिला को उत्तरकाशी जिला अस्पताल से दून अस्पताल रेफर किया गया था, हाई रिस्क केस होने की वजह से महिला को बीते रविवार को दून अस्पताल से एम्स ऋषिकेश में रेफर किया गया था. 

अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान के महिला एवं प्रसूति रोग विभाग की डॉ. अनुपमा बहादुर ने बताया कि प्रसूता महिला का हिमोग्लोबिन काफी कम (टीएसएच 13) था, लिहाजा ऐसी स्थिति में डिलीवरी में नवजात शिशु को आइसीयू नीकु की आवश्यकता पड़ सकती थी. दून चिकित्सालय में यह सुविधा उपलब्ध नहीं होने के कारण उसे एम्स रेफर किया गया था. यहां अल्ट्रासाउंड के जरिये पता चला कि महिला के पेट में चार बच्चे हैं. लिहाजा महिला को तीन यूनिट रक्त चढ़ाया गया. साथ ही बच्चों के फेफड़ों की मैच्योरटी के लिए महिला को इंजेक्शन लगाया गया. 

इसके बाद ऑपरेशन से शनिवार को दोपहर में महिला ने चार बच्चों को जन्म दिया. नवजात बच्चों में दो लड़के व दो लड़कियां हैं. चिकित्सकों के अनुसार सभी बच्चे स्वस्थ हैं. जिनका वजन क्रमश: 1.6 किग्रा, 1.5 किग्रा, 1.35 किग्रा तथा 1.01 किलोग्राम है. खास बात यह है कि किसी भी नवजात को वेंटीलेटर की आवश्यकता नहीं पड़ी. हाईरिस्क केस होने की वजह से चिकित्सकों की टीम गठित की गयी थी. इसमें नवजात शिशु विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ. श्रीपर्णा बासू व डॉ. पूनम तथा गाइनी विभाग की प्रमुख डॉ. जया चतुर्वेदी, डॉ. अनुपमा बहादुर व डॉ. राजलक्ष्मी मुंदरा शामिल थे।.

एम्स निदेशक पद्मश्री प्रोफेसर रवि कांत ने बताया कि एम्स नवजात शिशु मृत्युदर कम करने को लेकर गंभीर है, लिहाजा हम हाईरिस्क प्रेग्नेंसी के मामलों को प्राथमिकता देते हैं. उन्होंने बताया कि इसके लिए संस्थान में सभी विश्वस्तरीय वार्ड, संसाधन, उपकरण व विशेषज्ञ चिकित्सक उपलब्ध हैं.

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