भाजपा के नियमों से तालमेल नहीं बैठने पर तृणमूल कांग्रेस में लौट रहे हैं कुछ नेता: दिलीप घोष

भारतीय जनता पार्टी की बंगाल इकाई के अध्यक्ष दिलीप घोष ने शुक्रवार को कहा कि विधानसभा चुनाव से पहले तृणमूल कांग्रेस से उनकी पार्टी में आए नेता अब इसलिए छोड़कर वापस जा रहे हैं क्योंकि वे तालमेल नहीं बैठा पा रहे। इस पर तृणमूल कांग्रेस ने कहा कि घोष को आखिरकार बात समझ में आ गई।

घोष ने कहा कि तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए राजीब बनर्जी और सब्यसाची दत्ता के बयानों को देखते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है। उन्होंने दावा किया कि भाजपा में आने वाले नये नेताओं को पार्टी के नियमों के साथ तालमेल बैठाने में कठिनाई हो रही है, लेकिन पुराने नेताओं को ऐसी कोई समस्या नहीं है।

इस पर तृणमूल कांग्रेस के राज्य महासचिव कुणाल घोष ने कहा कि भाजपा नेतृत्व को चुनाव से पहले दूसरे दलों को कमजोर करने के नतीजों के बारे में सोचना चाहिए था। उन्होंने कहा कि अच्छी बात है कि भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष को ‘देरी से ही सही, बात समझ में आ गई। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता ने तृणमूल कांग्रेस नेताओं को खुली हवा में सांस लेने के लिए अपनी पार्टी में बुलाया था लेकिन अब दिलीप घोष किसी दिन अपनी ही पार्टी में घुटन महसूस कर सकते हैं और उन्हें ऑक्सीजन की जरूरत पड़ सकती है।

आम के लिए ममता ने पीएम हसीना ने भेजा धन्यवाद पत्र

-मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आम का तोहफा मिलने पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना को पत्र भेजकर धन्यवाद किया। उन्होंने चिट्ठी  में लिखा कि मैं आपके प्यार और उस आम से मिली बांग्लादेश की खुशबू का सम्मान करती हूं। मैं सचमुच अभिभूत हूं। पिछले रविवार को हसीना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी समेत बांग्लादेश की सीमा से सटे भारत के राज्यों के मुख्यमंत्रियों को 2,600 किलोग्राम आम भेजा था। ममता ने चिट्ठी में लिखा कि आम इतने हैं कि मेरे दोनों हाथ भर गए। उन्होंने यह भी लिखा कि रंगपुर के हरिभंगा का आम पहली बार खाया है। ममता के शेख हसीना के साथ कई वर्षों बड़े ही आत्मीय संबंध हैं। हसीना ममता को छोटी बहन की तरह प्यार करती हैं।

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