पाकिस्तान की यात्रा निजी बताकर सिद्धू ने सरकार से ले लिए पूरे पैसे


नवजोत सिंह सिद्धू की पाकिस्तान यात्रा और इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने से जुड़े विवाद लगातार बढ़ते ही जा रहे हैं. ताजा मामला RTI से मिली उस हैरान करने वाली जानकारी से हुआ, जिसके मुताबिक सिद्धू ने अपनी पाकिस्तान की निजी यात्रा के लिए सरकार से पैसे ले लिए.

दरअसल, इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने के बाद नवजोत सिंह सिद्धू ने इसे अपनी निजी यात्रा बताया था. इस दौरान अमृतसर के अपने घर से वाघा बॉर्डर तक आने-जाने के पेट्रोल का खर्चा, ड्राइवर की तनख्वाह और खुद का डेली एलाउंस और ट्रैवल एलाउंस का क्लेम उन्होंने पंजाब सरकार से ले लिया.

ऐसे में अब अकाली दल की ओर से सवाल उठाया जा रहा है कि ये किस तरह की निजी यात्रा थी, जिसमें मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के मना करने के बावजूद भी उस वक्त कैबिनेट मंत्री रहते हुए नवजोत सिंह सिद्धू पाकिस्तान गए और बदले में पंजाब सरकार से डेली एलाउंस, ट्रैवल एलाउंस और अपनी गाड़ी के ईंधन और ड्राइवर का खर्चा तक ले लिया जो कि महज चंद हजार ही बनता है.

RTI से मिली जानकारी के मुताबिक सिद्धू ने किस चीज का कितना क्लेम लिया...?

> सिद्धू ने 17 अगस्त 2018 को अमृतसर अटारी से बाघा बॉर्डर 88 किलोमीटर गाड़ी चलाई जिसका 1320 रुपए क्लेम लिया गया.

> इसी तरह 17 अगस्त 2018 को रोजाना भत्ता 1500 रुपए क्लेम किया गया लेकिन इस दौरान वो पाकिस्तान में निजी यात्रा पर थे न कि सरकारी काम पर.

> 17 अगस्त 2018 को ही ड्राइवर की तनख्वाह के तौर पर 333 रुपए क्लेम किया गया.

> इसी तरह 18 अगस्त 2018 को ड्राइवर की तनख्वाह 333 रुपए क्लेम किया गया.

> 19 अगस्त को वाघा बॉर्डर से चंडीगढ़ 370 किलोमीटर गाड़ी चली और 5550 रुपए क्लेम किए गए.

> 19 अगस्त को ही रोजाना भत्ता 750 रुपये क्लेम किया गया.

हालांकि, मंत्रियों और विधायकों की गाड़ियों के ईंधन, ड्राइवर के खर्च को लेकर किसी तरह का ये सरकारी नियम क्लियर नहीं है कि वो गाड़ी के इस्तेमाल का क्लेम निजी काम के लिए ले सकते हैं या नहीं.

लेकिन सवाल यहां पर नैतिकता का है क्योंकि नवजोत सिंह सिद्धू अपनी पाकिस्तान यात्रा से पहले खुलेआम ऐलान करके गए थे कि वो पाकिस्तान ना जाने की कैप्टन अमरिंदर सिंह की नसीहत का सम्मान करते हैं, लेकिन वो बतौर कैबिनेट मंत्री नहीं बल्कि इमरान खान के दोस्त की हैसियत से पाकिस्तान जा रहे हैं और ये कोई सरकारी यात्रा नहीं है.

अब विवाद ये है कि उन्होंने अपनी निजी यात्रा पर पाकिस्तान में रहने के दौरान भी वो सारे क्लेम ले लिए जब वो इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह के लिए पाकिस्तान में थे.

हालांकि, नवजोत सिंह सिद्धू की पत्नी नवजोत कौर सिद्धू ने कहा कि इमरान खान के शपथ ग्रहण कार्यक्रम के दौरान जब नवजोत सिंह सिद्धू पाकिस्तान गए थे तो उन्होंने कोई भी डेली एलाउंस या ट्रैवल एलाउंस का क्लेम नहीं लिया है. जबकि RTI से मिली जानकारी कुछ और ही बयां करती है.

वहीं, पंजाब सरकार में मंत्री साधू सिंह धरमसोत ने भी इस पूरे मामले में पूर्व मंत्री और विधायक नवजोत सिंह सिद्धू का बचाव करते हुए कहा कि मंत्रियों के ट्रैवल एलाउंस, डेली एलाउंस, गाड़ियों के ईंधन का ब्यौरा और ड्राइवर की सैलरी जैसे खर्चे उनके स्टाफ की तरफ से तैयार किए जाते हैं. हो सकता है कि उनके स्टाफ ने गलती से उन दिनों की जानकारी भी इन खर्चों में जोड़ दी, जब नवजोत सिंह सिद्धू अपनी निजी यात्रा पर इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह के लिए पाकिस्तान गए थे.

अकाली दल नेता चरणजीत बराड़ ने इस पूरे मामले पर नवजोत सिंह सिद्धू को नैतिकता का पाठ पढ़ाते हुए कहा कि जब वो खुलेआम बोल कर गए थे कि वो अपने दोस्त इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह पर बतौर पंजाब के कैबिनेट मंत्री नहीं बल्कि इमरान खान से अपनी दोस्ती की वजह से जा रहे हैं तो ऐसे में उनको इतने छोटे खर्चे के लिए पंजाब सरकार से क्लेम नहीं लेना चाहिए था और इससे उन्होंने अपनी कथनी और करनी को साफ कर दिया है.

बता दें कि इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह के दौरान नवजोत सिंह सिद्धू का पाकिस्तान के आर्मी चीफ जनरल बाजवा से गले मिलना भी बेहद विवादों में रहा था और इमरान खान से दोस्ती और पाकिस्तान यात्रा को लेकर नवजोत सिंह सिद्धू कई बार सवालों के घेरे में आए थे.

लेकिन नवजोत सिंह सिद्धू ने साफ किया था कि वो इमरान खान के साथ अपने निजी रिश्ते और दोस्ती की वजह से ही पाकिस्तान गए थे लेकिन अब ये नया विवाद उनके नाम के साथ और उनकी उस पाकिस्तान यात्रा के साथ जुड़ चुका है.

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