ढाका : बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने एमनेस्टी इंटरनेशनल को आड़े हाथ लेते हुए उस पर युद्ध अपराधियों को बचाने का प्रयास करने का आरोप लगाया है। हसीना ने इसके साथ ही यह आरोप भी लगाया कि अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार समूह को आरोपियों को बचाने के लिए रिश्वत दी गई है।
हसीना ने एमनेस्टी पर युद्ध अपराधियों का अपने द्वारा किये जाने वाले बचाव के लिए पैसे लेने का आरोप लगाया।
एमनेस्टी ने युद्ध अपराधियों सलाउद्दीन कादिर चौधरी और अली एहसान मोहम्मद मुजाहिद पर अदालत का अंतिम फैसला आने से पहले 27 अक्तूबर को जारी एक मीडिया बयान में कहा था कि 1971 मुक्ति संग्राम के दौरान ‘स्वतंत्रता सेनानियों को गंभीर अपराधों’ के लिए कोई सजा नहीं हुई।
हसीना ने कहा, ‘हमने इसकी (बयान) कड़ी निंदा की है और आगे भी करते रहेंगे।’ प्रधानमंत्री ने युद्ध अपराध मामलों की सुनवायी जल्द पूरा किये जाने का भी आग्रह किया।