प्रधानमंत्री ने ‘‘गरीबी हटाओ’’ नारे का उड़ाया मजाक


बालेश्वर: कांग्रेस के ‘गरीबी हटाओ’ नारे पर पार्टी को आड़े हाथ लेते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज कहा कि जिन्होंने नारा दिया था उनकी मंशा हो सकता है सही रही होगी लेकिन उन्होंने इस वादे को पूरा करने के लिए जो रास्ता चुना वह गलत था। अपनी सरकार के दो साल पूरे होने के अवसर पर ओडिशा के तटीय कस्बे में एक रैली को संबोधित करते हुए मोदी ने देश में ‘संतुलित’ विकास का आह्वान किया और इस बात पर हैरानी जतायी कि प्राकृतिक संसाधनों से भरपूर पूर्वी क्षेत्र किस प्रकार पिछड़ा रह गया।

ओडिशा, पूर्वी उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार और असम के विकास की वकालत करते हुए मोदी ने कहा कि उनकी सरकार गरीब लोगों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है जो सभी योजनाओं के केंद्र में होंगे। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के ‘गरीबी हटाओ’ नारे पर सवाल उठाते हुए मोदी ने कहा, 'हम पिछले 60 सालों से ‘गरीबी हटाओ’ के नारे को सुनते आ रहे हैं। मैं उनकी मंशा पर शंका जाहिर नहीं कर रहा हूं जिन्होंने यह नारा दिया था। मंशा सही रही होगी लेकिन गरीबी हटाने के लिए उन्होंने जो रास्ता चुना वह निश्चित रूप से गलत था क्योंकि गरीबी, बेरोजगारी और बीमारियां बढ़ी हैं।’’ उन्होंने कहा कि सरकारें अमीरों के लिए नहीं होती हैं बल्कि गरीबों के लिए होती हैं और उन्हें गरीब से लड़ने की दिशा में काम करना चाहिए। समस्याओं का वैज्ञानिक समाधान खोजे जाने तक गरीबी का उन्मूलन नहीं होगा।’’ प्रधानमंत्री ने कहा, 'मैंने कहा था कि मेरी सरकार देश में गरीबों के कल्याण के लिए समर्पित है। जब मैंने यह कहा था, मेरा मकसद यह था कि कोई राज्य या क्षेत्र विकास में पीछे नहीं रहना चाहिए। एक संतुलित विकास होना चाहिए और हर किसी को इसका फायदा होना चाहिए।’’
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